दोस्तो आज के इस आर्टिकल में हम आपको बताने वाले है, की आप अपने Mobile को कम से कम समय मे कैसे चार्ज कर सकते हो। और ये भी बताने वाले है की Fast Charging कैसे काम करती है। कभी-कभी फोन को चार्जिंग पर लगा कर हम स्विच ऑन करना भूल जाते हैं यह पता चलते ही हमें बहुत गुस्सा आता था। लेकिन अब नहीं आता, क्योंकि आजकल जो मोबाइल आ रहे हैं उसमें फास्ट चार्जिंग की सुविधा दी जाती है। जिससे हमारा मोबाइल जल्द ही चार्ज हो जाता है।
Fast Charging की मदद से कुछ मिनटों में ही फोन चार्ज हो जाता है। पर कभी आपने सोचा है की फास्ट चार्जिंग काम कैसे करती है? आपके मोबाइल की बैटरी इतनी जल्दी चार्ज कैसे हो सकती है? फास्ट चार्जिंग के स्टेंडर्ड और नाम अलग-अलग क्यू है? अगर आप इन सभी बातो से अनजान है तो चलिए इसके बारे में विस्तार से जानकारी लेते है।
आपके जानकारी के लिए बता दे कि हर कंपनी का अपना ही अलग स्टेंडर्ड होता है। 18 वॉट से 65 वॉट तक की Fast Charging Normal है। लेकिन अब 120 वॉट की Fast Charging के साथ भी आते है। Charging की Speed अलग-अलग होती है। एक से आधे घंटे मे एक स्मार्टफोन फूल Charg हो जाता है।
ऐसा भी नहीं है कि आप फास्ट चार्जिंग को वायर के साथ ही यूज कर सकते हो और वायर के साथ ही यह अच्छे से Mobile चार्ज होता है। बल्कि आप आप वायरलेस Fast Charging की मदत से अपना Mobile फुल चार्ज कर सकते हो। यह वायरलेस Fast Charging अभी इंप्रूव हुई है। तो आइए जानते हैं कि फास्ट चार्जिंग क्या है?
जानिए क्या है क्या Fast Charging?
Fast Charging का मतलब यह नहीं है कि कितने भी करंट और वोल्टेज फेक सकते हो। बल्कि यह तो Constant Current और Constant Voltage इन दो भागों में बटी होती है। मतलब वोल्टेज और करंट का सही समायोजन होता है। बैटरी चार्ज होते समय जैसे-जैसे वोल्टेज में बदलाव आएगा उस हिसाब से करंट भी पास होगा। आसान शब्द में कहे तो वोल्टेज और करंट का यह सिस्टम 3 रंगों से समझा जा सकता है।
Green मतलब कम वोल्टेज जो 60 प्रतिशद तक चार्ज करता है। फिर अगले 20 प्रतिशद के लिए थोड़ा ज्यादा और अंत में 20 प्रतिशद के लिए अधिकतम वोल्टेज। यह है बैटरी को चार्ज करने का बेसिक तरीका, मगर फास्ट चार्जिंग के लिए इसमें बहुत से बदलाव हुए हैं। बैटरी अधिकतम वोल्टेज तक पहुंचे इसके लिए पहले से ही ज्यादा से ज्यादा करंट उस में प्रवाहित कर दिया जाता है। आपने देखा होगा कि आजकल स्मार्टफोन 50 प्रतिशद तक बहुत जल्दी पहुंच जाते हैं, बाद मे 75-80 प्रतिशद और आगे 20 प्रतिशद तक थोड़ा वक्त लगता है।
Fast Charging काम कैसे करती है।
फास्ट चार्जिंग काम कैसे करता है, यह फोन के Wattage पर निर्भर करता है। आपके फोन का Wattage जितना ज्यादा होगा उतनी ही जल्दी आपका मोबाइल चार्ज होगा। पावर मैनेजमेंट सर्किट बोर्ड हर स्मार्टफोन में होता है। यह तय करता है की किसी भी वक्त बैटरी कितनी वॉट बिजली ले सकती है। जीन स्मार्टफोन में क्विक चार्ज नहीं होता है, यह उनमें 10 वॉट तक सीमित होती है।
क्विक चार्ज की यही खूबी है कि वह इस सीमा को बढ़ा देता है। इसी वजह से स्मार्टफोन जल्दी चार्ज हो जाते हैं, स्मार्टफोन का पावर मैनेजमेंट सर्किट उसे ज्यादा बिजली लेने में मदद या तैयार करता है।
तीन चीजें होना क्विक चार्ज के लिए बहुत जरूरी है :
- टैबलेट या स्मार्टफोन में चार्ज का सिस्टम
- एडाप्टर जो ऊंचे वोल्टेज का है
- बढ़िया यूएसबी वाली तार
स्मार्टफोन को अगर क्विक चार्ज के लिए नहीं बनाया गया है, तो उसे जल्द से जल्द चार्ज नहीं किया जा सकता है। एक साधारण फोन मे आपको 5w का charger मिलता है। इससे आपका फोन नॉर्मल तरीके से चार्ज होता है, स्पीड भी नॉर्मल ही होती है। जैसे-जैसे एडप्टर की वेटेज बढ़ती जाती है, वैसे- वैसे आपकी फोन की चार्जिंग की स्पीड बढ़ती जाती है।
मुख्य वर्जन Fast Charging Technology के –
अभी तक फास्ट चार्जिंग वर्जन के चार प्रकार लॉन्च हुए है। पर ज्यादातर फोन मे इसके 3.0 वर्जन ही देखने को मिलते हैं। क्विक चार्जिंग के वर्जन यह है-
- Fast Changing या Quick Charge 1.0
- Fast Changing या Quick Charge 2.0
- Fast Changing या Quick Charge 3.0
- Fast Changing या Quick Charge 4
- Fast Changing या Quick Charge 4+
Quick या Fast Charging के नुकसान।
ऐसा नहीं है कि Quick Charging के सिर्फ फायदे हो सकते हैं और फोन 30 मिनट में चार्ज हो जाएगा और आपका टाइम बचेगा। क्योंकि इसके नुकसान भी होते हैं।
- Fast Charging तकनीक से आपका फोन या आपके फोन की बैटरी हिट हो सकती है। यह ज्यादातर गर्मियों में हो सकता है।
- फास्ट चार्जिंग तकनीक की वजह से आपके मोबाइल की बैटरी ज्यादा देर तक नहीं टिक पाती और उसका चार्ज भी कम चलता है। इस तकनीक की वजह से आपकी मोबाइल की बैटरी भी खराब हो सकती है।
- अगर आप Fast Charging में कोई हल्की चार्जिंग केबल इस्तेमाल कर रहे हो, तो वह जल सकती है । इसलिए आपको ओरिजनल केबल ही चाहिए होती है जो फास्ट चार्जिंग की पावर को accept कर सकें
यह थे क्विक चार्जिंग या Fast Charging के नुकसान।
Fast Charging के ऊपर भविष्य का आरोप।
चार्जिंग टेक्नोलॉजी लगातार बेहतर होती जा रही है, क्योंकि चार्जिंग टेक्नोलॉजी के निर्माता लगातार चार्जिंग की स्पीड बढ़ाते रहते है। आगे के कुछ वर्षों में बहुत सी कंपनियां चार्जिंग तकनीक के साथ प्रयोग करेंगी, और उद्योग में नए मानक ऊभरेंगे। जब कि यह संभावना है कि, अभी भी अधिकांश मानक USB-PD का यूज़ उनकी रीढ के रूप मे करेंगे।
आज के युग में वायरलेस फास्ट चार्जिंग का उद्भव भी हुआ है। उचित तापीय प्रबंधन के सिवा बिना मात्रा में बिजली का संचार करना बहुत खतरनाक हो सकता है। वायरलेस चार्जिंग अभी वायर की तुलना में बहुत स्लो है, क्योंकि प्रौद्योगिकी कंपनियां अभी भी यह समझ रही है कि गर्मी का प्रबंधन कैसे किया जाए। इसलिए वनप्लस जैसी कंपनियों ने 30w वायरलेस चार्जिंग जारी किए हैं और इनमें पर्याप्त एयरफ्लो प्रदान करने के लिए बड़े प्रशंसक हैं।
Fast Charging तकनीक से जुड़े कुछ सवाल और जवाब
सवाल – क्या Fast Charger किसी भी मोबाइल फ़ोन में लगाया जा सकता है?
जवाब – जी हां, Fast charger या Quick charger आप किसी भी मोबाइल फ़ोन में इस्तेमाल कर सकते हैंV लेकिन इससे सभी के सभी मोबाइल फ़ोन फ़ास्ट चार्ज नहीं होंगे। इससे सिर्फ वही फ़ोन फ़ास्ट चार्ज होंगे जो इसको सपोर्ट करते हैं। बाकी मोबाइल फ़ोन वैसे ही चार्ज होंगे जैसे की नॉर्मल चार्जर से होते हैं।
सवाल – क्या फ़ास्ट चार्ज तकनीक से मोबाइल खराब होता है?
जवाब – बिल्कुल भी नहीं, इससे फ़ोन पर कोई भी असर नहीं होता। लेकिन कुछ कुछ फ़ोन थोड़े heat हो सकते है लेकिन फ़ोन खराब होने जैसी कोई बात नहीं है।
सवाल – हमारे मोबाइल में Fast Charging Support है तो क्या हमें चार्जिंग के लिये फ़ास्ट चार्जर ही लगाना पड़ेगा?
जवाब – जी नहीं, आप अपने मोबाइल को Slow Chargers से भी चार्ज कर सकते है। आप जितना चाहे उतना फोन को स्लो चार्ज करें, आपके मोबाइल की बैटरी पर इसका कोई भी नुकसान नहीं होगा। बस इससे मोबाइल धीरे धीरे चार्ज होगा, फ़ास्ट चार्जर के मुकाबले।
सवाल – क्या हम Fast Charger उसी कंपनी का इस्तेमाल करें जिस कंपनी का मोबाइल है?
जवाब – ऐसा बिलकुल भी नहीं है, आपको जिस कंपनी का फ़ास्ट चार्जर अच्छा लगे उस कंपनी का आप इस्तेमाल कर सकते हैं। जैसे आप Oneplus में Vivo का फ़ास्ट चार्जर भी इस्तेमाल कर सकते हैं या फिर किसी अन्य थर्ड पार्टी कंपनी का भी इस्तेमाल कर सकते हैं। इससे फ़ोन ओर चार्जिंग की स्पीड पर कोई असर नहीं पड़ेगा।
आखिर में।
आज के इस आर्टिकल में आपने जाना फास्ट चार्जिंग क्या है, और यह कैसे काम करती है। एक और नई बात मतलब फास्ट चार्जिंग की वजह से कौन-कौन से नुकसान हो सकते हैं। अगर आप कोई आर्टिकल पसंद आया है तो इस आर्टिकल को अपने दोस्तों, रिश्तेदारों तक जरूर पहुंचाएं। आर्टिकल के संबंधित अगर आपके कोई प्रश्न है तो आप हमें पूछ सकते हो। हम जरूर आपके प्रश्नों के उत्तर देने की कोशिश करेंगे।
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